महफिल-ए-मिलादुन्नबी' का पहला दिन।
सैय्यद फरहान अहमद
गोरखपुर, उत्तर प्रदेश।
अक्सा मस्जिद शाहिदाबाद हुमायूंपुर उत्तरी में ग्यारह दिवसीय महफिल-ए-मिलादुन्नबी कार्यक्रम शुरू हो गया है। पहले दिन मुख्य वक्ता मौलाना तफज्जुल हुसैन रजवी ने कहा कि पैग़ंबरे इस्लाम हजरत मोहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम पूरी दुनिया के रहनुमा हैं। पैग़ंबरे इस्लाम ने गुलामी प्रथा का उन्मूलन किया। गुलामों को आज़ाद करने के लिए लोगों को उभारा। उन्हें समानता प्रदान की। पैग़ंबरे इस्लाम ने महाजनी प्रथा को समाप्त कर दिया। सूद को वर्जित ठहराया, शोषण-चक्र को बिल्कुल रोक दिया और सामाजिक सुरक्षा के लिए व्यापक प्रबंध किए। पैग़ंबरे इस्लाम ने समाज से व्यभिचार, भ्रष्टाचार, कुरीतियों और अशंति को दूर किया। आपने शराब, जुआ और सट्टे पर प्रतिबंध लगाया। रातों-रात धनवान बनने की लालसा पर रोक लगाई। जमाख़ोरी, चोर-बाजारी, मिलावट, कम तौलना, झूठ बोलकर खराब माल बेचना इत्यादि को रोक दिया।
संचालन करते हुए हाफिज अजीम अहमद नूरी ने कहा कि पैग़ंबरे इस्लाम ने ही फरमाया पेड़ लगाना भी एक प्रकार का सदका है। पैग़ंबरे इस्लाम ने फ़रमाया जो शख्स पौधा लगाता है फिर उस पेड़ से जितना फल पैदा होता है अल्लाह फल की पैदावार के बक़द्र पौधा लगाने वाले के लिए नेकी लिख देता है। अंत में सलातो सलाम पढ़कर अमनो अमान की दुआ मांगी गई।
महफ़िल में मो. कैफ़, हाफ़िज़ मो. आरिफ, बरकत हुसैन, हामिद रजा, मो. सिद्दीक, मो. शाहरुख, मो. हुसैन, तनवीर अहमद, मो. आरिफ, मुहर्रम अली, हम्माद रजा, साहिल रजा, मो. आज़म, मो. इस्लाम आदि लोग मौजूद रहे।
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