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परीक्षा नियंत्रक की पाठशाला में शिक्षकों ने सीखे परिवर्तन के समावेशी गुण

शैक्षिक उन्नयन एवं मूल्य आधारित शिक्षा पर बल दे शिक्षक:- डॉ. संयम भारद्वाज

विद्यार्थीयों को स्कूलों में ठीक से पढाये, तकि वो कहि और जाने को विवश ना हो:- डॉ. अनिल जैन

शिक्षक शिक्षा और शिक्षार्थी राष्ट्र निर्माण के मूल आधार :- डॉ. एस. चनप्पा

गोरखपुर स्कूल एसोसिएशन द्वारा आयोजित ‘मंथन-25’ क्षेत्रीय शिक्षा सम्मेलन

गोरखपुर, उत्तर प्रदेश

गोरखपुर स्कूल एसोसिएशन द्वारा "स्कूली शिक्षा की पुनर्कल्पना - भविष्य के लिए तैयार भारत की नींव को मजबूत करना" विषय पर केंद्रित ‘मंथन-25’ क्षेत्रीय शिक्षा सम्मेलन का भव्य आयोजन रेलवे सभागार, गोरखपुर में सम्पन्न हुआ।

समारोह की शुरूआत सभी अतिथियों द्वारा माँ सरस्वती के चित्र पर द्विप प्रज्वलन एवं पुष्प अर्पण से हुआ, छात्राओं द्वारा सरस्वती वंदना एवँ स्वागत गीत प्रस्तुत किया गया, सभी अतिथियों को पुष्पगुच्छ एवं स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मानित किया गया।

गोरखपुर स्कूल एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ. संजयन त्रिपाठी ने प्रशस्तिपत्र वाचन कर अतिथियों का स्वागत किया, मुख्य अतिथि के रूप में सीबीएसई, दिल्ली के परीक्षा नियंत्रक डॉ. संयम भारद्वाज ने अपने वक्तव्य में वर्तमान शैक्षणिक परिवेश में मूल्य आधारित, समावेशी एवं तकनीकी रूप से समृद्ध शिक्षा प्रणाली की आवश्यकता पर विधिवत पाठशाला लगाई। उन्होंने शिक्षकों प्राचार्यो एवं निदेशकों से प्रश्न प्रहर मे उनके सवालों का जबाब देते हुए डाटा फेरबदल, परीक्षा के सफल निष्पादन, संचार, विद्यालयी संचालन आदि में आने वाली कठिनाईयों के प्रत्येक कड़ी के निष्पादन का सटीक एवं व्यवहारिक समाधान बताते हुए त्रुटि रहित स्कूली व्यवस्था की बात कही l

कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे सीबीएसई प्रयागराज क्षेत्र के क्षेत्रीय अधिकारी डॉ. अनिल जैन ने अपने उद्बोधन कहा कि सभी विद्यालयों की नैतिक जिम्मेदारी है कि वह अपने गुरुतर दायित्वों का निर्वहन ठीक से करे, कक्षाओं में विद्यार्थियों को इतना भरपूर पढ़ायें ताकि विद्यार्थियों को कहि और भटकना ना पड़े, साथ ही सभी को अपनी जिम्मेदारी के प्रति सजग करते हुए सीबीएसई की विधिवत कार्यप्रणाली से सभी को अवगत कराया।

इस अवसर पर विशिष्ट अतिथि के रूप में गोरखपुर क्षेत्र के पुलिस उपमहानिरीक्षक श्री शिवासिम्पी चन्नप्पा ने भी कार्यक्रम को संबोधित किया और शिक्षा के माध्यम से समाज में सकारात्मक परिवर्तन की भूमिका को रेखांकित करते हुए कहा कि शिक्षक शिक्षा और शिक्षार्थी किसी राष्ट्र की प्रगति के मूल आधर है ।

कार्यक्रम में शिक्षा नीति, मूल्यनिष्ठ शिक्षा, समावेशी शिक्षण, एवं तकनीकी एकीकरण जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर सीबीएसई के विशेषज्ञों द्वारा विचार-विमर्श किया गया। सम्मेलन में उपस्थित शिक्षकों, प्राचार्यो, निदेशकों, शैक्षिक प्रशासकों, एवं नीति-निर्माताओं को इन विचारों से एक नवीन दृष्टिकोण प्राप्त हुआ। पूर्वाचल में पहली बार आयोजित इस ऐतिहासिक आयोजन में गोरखपुर व पूर्वांचल क्षेत्र के सैकड़ों शिक्षाविदों, प्राचार्यों, शिक्षकों एवं शिक्षा क्षेत्र से जुड़े गणमान्य लोगों ने भाग लिया। सम्मेलन ने स्थानीय और राष्ट्रीय स्तर पर शिक्षा के क्षेत्र में नवाचार एवं परिवर्तनशील सोच को एक नई दिशा देने का कार्य किया।

कार्यक्रम का संचालन स्कूल्स एसोसिएशन गोरखपुर के अध्यक्ष डॉ. संजयन त्रिपाठी एवं महामंत्री श्री माधवेन्द्र पांडेय के नेतृत्व में सम्पन्न हुआ।

डॉ. संजयन त्रिपाठी ने अपने उद्बोधन में कहा कि "मंथन-25 शिक्षा क्षेत्र में विचारशीलता, नवाचार और सामूहिक प्रयासों की एक अनूठी पहल है, जिसका उद्देश्य भारत को वैश्विक शैक्षणिक नेतृत्व के लिए तैयार करना है।" आभार ज्ञापन कोषाध्यक्ष अभिषेक सिंह ने किया, इस अवसर पर डॉ. सृंजय मिश्र, अजय शाही, डॉ. प्रांजल यस. त्रिपाठी, राहुल चतुर्वेदी, जितेन्द्र श्रीवास्तव,, इन्द्रजीत ओझा, संतोष त्रिपाठी, मणींद्र माधव त्रिपाठी, विशाल त्रिपाठी, अजीत दीक्षित आदि की भूमिका सराहनीय रहीं l

Karunakar Ram Tripathi
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